रेत माफियाओं का आतंक, चोरी रोकने गई वन विकास निगम की टीम पर जानलेवा हमला
कबीरधाम । कबीरधाम जिले में रेत माफियाओं का आतंक एक बार फिर खुलकर सामने आया है। रेत चोरी रोकने गई वन विकास निगम की टीम पर जानलेवा हमला हुआ। जानकारी के मुताबिक, ग्राम डालामौहा के कुदूर झोरी नाला से अवैध रेत निकासी की सूचना मिलने पर वन विकास निगम का अमला मौके पर पहुंचा, जहां रेत माफियाओं ने उन पर हमला कर दिया। टीम के सदस्यों को दौड़ा-दौड़ाकर पीटा गया, यहां तक कि उनकी वर्दी भी फाड़ दी गई। हमले में एक अधिकारी का सिर फूट गया है।
रेत माफियाओं ने की हिंसक वारदात, फरार हुए आरोपी
घटना के बाद रेत माफिया मौके से फरार हो गए। बताया जा रहा है कि इस हिंसक हमले में एक दर्जन से अधिक लोग शामिल थे, जिनमें कुछ नाबालिग भी थे। हमलावरों ने वन विभाग के अधिकारियों की वर्दी फाड़ दी और उन पर लाठी-डंडों से हमला किया। सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और हालात का जायजा लिया।
15 से 20 आरोपियों पर मामला दर्ज, पुलिस जुटी तलाश में
इस घटना पर पंडरिया एसडीओपी पंकज पटेल ने बताया कि वन विकास निगम की टीम रेत खनन को रोकने गई थी, तभी लगभग 15 से 20 लोगों ने उन पर जानलेवा हमला कर दिया। हमलावरों के खिलाफ शासकीय कार्य में बाधा डालने, शासकीय सेवकों से मारपीट करने और जानलेवा हमला करने के आरोप में मामला दर्ज कर लिया गया है। पुलिस ने आरोपियों की तलाश शुरू कर दी है और जल्द ही सभी को गिरफ्तार किए जाने का दावा किया जा रहा है।
रेत माफियाओं की बढ़ती हिम्मत, कानून व्यवस्था पर सवाल
इस घटना ने एक बार फिर रेत माफियाओं की बढ़ती हिम्मत और कानून व्यवस्था पर सवाल खड़े कर दिए हैं। कबीरधाम क्षेत्र में रेत माफियाओं का आतंक लगातार बढ़ता जा रहा है, जो न केवल प्राकृतिक संसाधनों का अंधाधुंध दोहन कर रहे हैं, बल्कि कानून के रखवालों पर भी बेखौफ होकर हमला कर रहे हैं।
प्रश्न उठता है कि कब तक रेत माफिया कानून के हाथों से बचते रहेंगे, और कब तक सरकारी अधिकारी इस तरह की हिंसक घटनाओं का शिकार होते रहेंगे?