वित्त मंत्री ने रतन टाटा के निधन पर शोक व्यक्त किया, उन्हें उत्कृष्ट नेता कहा
नयी दिल्ली, उद्योग जगत के दिग्गज नेता रतन टाटा को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए, केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने उद्योग और समाज में उनके योगदान की सराहना की। रतन टाटा का निधन 86 वर्ष की आयु में बुधवार रात मुंबई के एक अस्पताल में हो गया।
सीतारमण ने एक्स पर अपने शोक संदेश में कहा, “उत्कृष्ट नेता, दूरदर्शी उद्योगपति और परोपकारी व्यक्तित्व श्री रतन टाटा के निधन से दुखी हूं, जिनके योगदान ने हमारे समाज पर एक अमिट छाप छोड़ी है।”
वित्त मंत्री ने कहा कि नवाचार, नैतिक व्यावसायिक प्रथाओं और सामाजिक जिम्मेदारी के प्रति टाटा के गहरे संकल्प ने उद्योग जगत को बदल दिया और समुदायों का उत्थान किया।
उन्होंने कहा, “श्री टाटा के परिवार, दोस्तों और उन सभी लोगों के प्रति मेरी गहरी संवेदनाएं, जिनके जीवन को उन्होंने प्रभावित किया। उनकी उल्लेखनीय विरासत आने वाली पीढ़ियों को प्रेरित करती रहेगी।”
रतन टाटा ने 1991 में 100 अरब डॉलर के नमक-से-सॉफ्टवेयर समूह के अध्यक्ष के रूप में पदभार संभाला और समूह के विभिन्न व्यवसायों को सफलतापूर्वक बढ़ाया। वह 28 दिसंबर, 2012 को अपनी सेवानिवृत्ति तक इस पद पर रहे। उसके बाद, रतन टाटा को टाटा संस, टाटा इंडस्ट्रीज, टाटा मोटर्स, टाटा स्टील और टाटा केमिकल्स के मानद अध्यक्ष की उपाधि से सम्मानित किया गया।
उन्हें शीर्ष उद्योगपतियों, राजनीतिक नेताओं और प्रतिष्ठित हस्तियों की ओर से श्रद्धांजलि अर्पित की जा रही है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अपने शोक संदेश में कहा कि टाटा एक दूरदर्शी व्यापार नेता, दयालु आत्मा और एक असाधारण इंसान थे।
मोदी ने कहा “उन्होंने भारत के सबसे पुराने और सबसे प्रतिष्ठित व्यापारिक घरानों में से एक को स्थिर नेतृत्व प्रदान किया। साथ ही, उनका योगदान बोर्डरूम से बहुत आगे निकल गया। विनम्रता, दयालुता और हमारे समाज को बेहतर बनाने की अटूट प्रतिबद्धता के कारण वह कई लोगों के चहेते बन गए।”
लोकसभा में विपक्ष के नेता और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राहुल गांधी ने कहा कि रतन टाटा एक दूरदृष्टि वाले व्यक्ति थे। उन्होंने कहा कि दिवंगत उद्योगपति ने व्यापार और परोपकार दोनों पर एक अमिट छाप छोड़ी है।