दिवालियापन प्रक्रिया के कारण बायजूज का सारा ऑपरेशन हो जाएगा ठप, कोर्ट से बोले रवींद्रन; जानिए पूरी डिटेल्स
भारत की सबसे बड़ी स्टार्टअप कंपनियों में से एक रही बायजूज (Byju’s) पर अब बंद होने का खतरा मंडरा रहा है। दरअसल, बायजूज को हाल के महीनों में कई झटके लगे हैं जिसमें नौकरियों में कटौती, इसके मूल्यांकन में गिरावट और निवेशकों के साथ झगड़ा शामिल है जिन्होंने सीईओ बायजू रवींद्रन पर कॉरपोरेट गवर्नेंस की खामियों का आरोप लगाया था। इंडिया टुडे में छपी एक खबर के अनुसार, अब बायजूज अपने सबसे बड़े संकट का सामना कर रहा है जब इस सप्ताह एक भारतीय न्यायाधिकरण ने एक प्रायोजन सौदे से संबंधित 19 मिलियन डॉलर के बकाया भुगतान को लेकर देश के क्रिकेट बोर्ड की शिकायत के बाद दिवालियेपन की कार्यवाही शुरू कर दी।
एड-टेक दिग्गज बायजूज जो कभी भारत का सबसे बड़ा स्टार्टअप था के खिलाफ दिवालियेपन की कार्यवाही के कारण हजारों कर्मचारियों को नौकरी छोड़ने पर मजबूर होना पड़ेगा। इसके परिणामस्वरूप इसकी सर्विस पूरी तरह बंद हो जाएंगी। यह बात बायजूज के सीईओ ने एक कोर्ट फाइलिंग में कही है। रवींद्रन ने दिवालियापन प्रक्रिया को रद्द करने की मांग करते हुए अदालत से अपील में कहा कि, “ऑनलाइन प्लेटफॉर्म के मेंटेनेंस के लिए सर्विस देने वाले वेंडर को भी डिफाल्टर घोषित करना होगा जिससे सारा ऑपरेशन ठप हो जाएगा।”
दूसरी ओर बायजू रविंद्रन के वकील एमजेडएम लीगल ने कोर्ट में दायर 452 पेज की याचिका में कहा है कि, “रविंद्रन 90 दिनों के भीतर भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड को बकाया राशि का भुगतान करने के लिए तैयार हैं।” बता दें कि 21 से ज्यादा देशों में काम करने वाली बायजज कोविड-19 महामारी के दौरान ऑनलाइन कोर्स की पेशकश करके लोकप्रिय हुई। यह पर्सनल कोचिंग क्लास भी देती है। बायजूज के पास मौजूदा समय में करीब 27,000 कर्मचारी हैं जिनमें 16,000 शिक्षक शामिल हैं।