हमर छत्तीसगढ़

शासकीय कर्मी द्वारा आत्महत्या की जांच की मांग, युवा विप्र संगठन ने गृहमंत्री को सौंपा ज्ञापन

रायपुर । तहसील/कलेक्टर कार्यालय में पदस्थ शासकीय कर्मचारी प्रदीप उपाध्याय द्वारा आत्महत्या करने की दुखद घटना सामने आई है। उन्होंने अपने सुसाइड नोट में कार्यालय के वरिष्ठ अधिकारियों पर प्रताड़ना का आरोप लगाया है, जिसमें बार-बार स्थानांतरण, जातिसूचक शब्दों का इस्तेमाल और अपमानित करने के आरोप शामिल हैं। सुसाइड नोट में प्रदीप उपाध्याय ने कलेक्ट्रेट में पदस्थ एडीएम देवेंद्र पटेल, अपर कलेक्टर गजेंद्र ठाकुर और तत्कालीन अपर कलेक्टर वीरेंद्र बहादुर का नाम लिखा है, जिनकी प्रताड़ना से तंग आकर उन्होंने यह कठोर कदम उठाया।

सुसाइड नोट में लिखा गया है कि किस तरह बार-बार स्थानांतरण के माध्यम से उन्हें मानसिक रूप से परेशान किया गया और जातिसूचक शब्दों का उपयोग कर अपमानित किया गया। सुसाइड नोट में ‘ब्राह्मण को भगाओ’ जैसे घृणित और जातिगत टिप्पणियों का उल्लेख किया गया है, जिससे प्रदीप उपाध्याय के आत्मसम्मान को ठेस पहुंचाई गई।

इस गंभीर घटना पर छत्तीसगढ़ी युवा विप्र संगठन ने कड़ा रुख अपनाते हुए उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा को ज्ञापन सौंपा। संगठन ने दोषियों पर सख्त से सख्त कार्रवाई की मांग की है और त्वरित जांच समिति गठित करने का अनुरोध किया है। युवा विप्र संगठन के अध्यक्ष सहित संगठन के सभी पदाधिकारी इस मौके पर मौजूद थे और उन्होंने चेतावनी दी कि अगर जल्द ही दोषियों पर कार्रवाई नहीं हुई तो संगठन उग्र आंदोलन करेगा।

इस घटना ने शासकीय कार्यलयों में कर्मचारियों के साथ होने वाली मानसिक प्रताड़ना और जातिगत भेदभाव के मामलों पर प्रश्नचिह्न खड़ा कर दिया है। घटना की जांच जारी है, और पूरे राज्य में इसे लेकर आक्रोश का माहौल है।

Show More

Related Articles

Back to top button